हिसार एयरपोर्ट पर यह अभी तक का सबसे बड़ा हवाई जहाज उतारा गया है। 3 हजार मीटर की नई हवाई पट्टी बनने के बाद ऐसा पहली बार होगा, जब इस पर किसी बड़े हवाई जहाज की लैंडिंग हिसार के लिए बड़ी उपलब्धि है।
हिसार महाराजा अग्रसेन एयरपोर्ट से हवाई सेवाएं शुरू करने के लिए पूरी तरह से तैयार है। बुधवार दोपहर करीब 1 बजे एयरपोर्ट पर विमान ने लैंडिंग की। डायरेक्टर जनरल सिविल एविएशन (डीजीसीए ) की टीम भी शहर के एयरपोर्ट पर पहुंच गई है। प्रदेश के नागरिक उड्डयन मंत्री डॉ. कमल गुप्ता ने एयरपोर्ट पर टीम का स्वागत किया। यह टीम यहां 2 से 3 दिन रुककर हवाई सेवाओं के लिए जरूरी मानकों को जांचेगी। ट्रायल सफल रहा और एयरपोर्ट सभी मानकों पर खरा उतरता है तो इसी माह इसे हवाई सेवा शुरू करने के लिए लाइसेंस मिल सकता है और जल्द ही यहां से विभिन्न शहरों के लिए हवाई सेवाएं भी शुरू हो जाएंगी।
एयरपोर्ट अथॉरिटी ने सभी तैयाारियां पूरी
हिसार एयरपोर्ट पर यह अभी तक का सबसे बड़ा हवाई जहाज उतारा गया है। 3 हजार मीटर की नई हवाई पट्टी बनने के बाद ऐसा पहली बार होगा, जब इस पर किसी बड़े हवाई जहाज की लैंडिंग हिसार के लिए बड़ी उपलब्धि है। लैंडिंग को लेकर एक सप्ताह पहले ही एयरपोर्ट अथॉरिटी ने सभी तैयाारियां पूरी कर ली थी। अभी तक हिसार एयरपोर्ट को हवाई सेवाएं शुरू करने के लिए लाइसेंस नहीं मिला है। इसे लेकर पिछले दिनों डीजीसीए की टीम दो-तीन एयरपोर्ट पर आई थी।
निरीक्षण के दौरान टीम
निरीक्षण के दौरान टीम ने एयरपोर्ट अथॉरिटी को कुछ कमियां बताई थीं और इन्हें पूरा करने के निर्देश दिए थे। 20 जुलाई को नागरिक उड्डयन विभाग के अतिरिक्त प्रधान सचिव सुधीर राजपाल भी यहां आए थे। उन्होंने 31 जुलाई तक फिनिशिंग कार्य को पूरा करने के आदेश दिए थे, ताकि यहां ट्रायल लैंडिंग करवाई जा सके। हिसार के हवाई अड्डे को अंतरराष्ट्रीय स्तर का बनाने के लिए वर्ष 2014 में यहां काम शुरू हुआ है। उस समय एयरपोर्ट के पास 200 एकड़ जमीन थी। दो चरणों में इसमें 7 हजार एकड़ जमीन को जोड़ा गया। यह देश का सबसे बड़ा एयरपोर्ट बनेगा, क्योंकि किसी भी एयरपोर्ट के पास इतनी जमीन नहीं है।
इन शहरों के लिए शुरू होंगी हवाई सेवाएं
पिछले माह ही मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने तीन हजार मीटर की नई हवाई पट्टी सहित कैटेगरी टू की लाइट, एचएडीसी ऑफिस, पैरीमीटर रोड, फ्यूल स्टोर, एटीसी टावर, 33 केवी सब स्टेशन, टैक्सी वे, अप्रेन, एयरड्रम, टर्मिनल बिल्डिंग का उद्घाटन किया था। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा था कि लाइसेंस मिलते ही यहां से अयोध्या, जम्मू, जयपुर व अहमदाबाद के लिए हवाई सेवा शुरू की जाएगी। इसके लिए एलायंस एयर के साथ एमओयू साइन हो चुका है।
आईएमसी में जापान की कंपनी करेगी 200 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश
उधर एयरपोर्ट पर प्रस्तावित इंटिग्रेटिड मैन्युफैक्चरिंग कलस्टर में निवेश को लेकर मंगलवार को जापान की कंपनी शहर पहुंची । उसने प्रस्तावित परियोजना का निरीक्षण किया। सूत्रों की मानें तो जापान की यह कंपनी कलस्टर में 200 से 300 करोड़ रुपये का निवेश करना चाहती है। बता दें कि 2988 एकड़ जमीन पर इंटीग्रेटेड मार्केटिंग क्लस्टर तैयार किया जाएगा। इसमें से 1300 एकड़ जमीन पर वर्ल्ड पोर्ट, मेगा कार्गो पोर्ट व ड्राई पोर्ट स्थापित किया जाएगा। यह क्लस्टर डिफेंस और एयरोस्पेस केंद्रित होगा। इसमें विश्व की बड़ी कंपनियों को उद्योग स्थापित करने के लिए आमंत्रित किया जाएगा।
आईएमसी को लेकर हरियाणा सरकार व एनआईसीडीसी
आईएमसी को लेकर हरियाणा सरकार व एनआईसीडीसी (नेशनल इंडस्टि्रयल कॉरिडोर डेवलपमेंट कोरपोरेशन) में समझौता भी हो चुका है। इसमें 51 प्रतिशत शेयर हरियाणा सरकार व 49 प्रतिशत शेयर एनआईसीडीसी का होगा। हरियाणा सरकार अपने शेयर के रूप में 1870 करोड़ की जमीन दे चुकी है। अब एनआईसीडीसी को अपने शेयर के रूप में 1810 करोड़ रुपये देने होंगे। इसके लिए पहले केंद्रीय मंत्रिमंडल को एक प्रस्ताव पास करना होगा। अमेरिका की ट्रेड एंड डेवलपमेंट एजेंसी इंटीग्रेटेड एविएशन हब बनाने के लिए तकनीकी और आर्थिक सहायता देगी। इससे एयरपोर्ट पर माल लाने और भेजने की सुविधाओं में बढ़ोतरी होगी।