Haryana Vritan
  • 9 अधिकारियों से खिलाफ जांच के लिए ACB को मंजूरी

फरीदाबाद: नगर निगम में हुए करोड़ों रुपए के भ्रष्टाचार घोटाले के मामले की परतें अब खुल सकती हैं, क्योंकि हरियाणा सरकार ने आरोपी अधिकारियों के खिलाफ जांच करने की इजाजत दे दी है। बताया जा रहा है कि एंटी करप्शन ब्यूरो(पहले विजिलेंस ब्यूरो) ने इस मामले में आरोपी अधिकारियों की संलिप्तता को लेकर जांच करने के लिए प्रदेश सरकार से इजाजत मांगी थी। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार हरियाणा सरकार ने आईएएस सोनल गोयल, आईएएस अनीता यादव समेत नौ अफसरों के खिलाफ जांच करने की अनुमति एंटी करप्शन बयूरो को दे दी है। अब जल्दी ही एंटी करप्शन बयूरो द्वारा इन अधिकारियों को जांच में शामिल कर पूछताछ की जा सकती है, हालांकि इसे लेकर अभी तक कोई आधिकारिक जानकारी सामने नहीं आई है।

50 करोड़ रुपए से अधिक का घोटाला, काफी समय से एसीबी कर रही जांच

गौरतलब है कि फरीदाबाद नगर निगम में एक बड़ा भ्रष्टाचार घोटाला सामने आया था। दरअसल निगम में साल 2017 से 2019 के बीच सड़कों से लेकर अन्य कार्यों में करोड़ों रुपए का घोटाला हुआ। जब परतें उधड़ने लगीं तो पता चला कि मौके पर कोई काम असल में हुआ ही नहीं है। वर्ष 2020 में घोटाले को निवर्तमान पार्षद दीपक, महेंद्र सरपंच, सुरेंद्र अग्रवाल सहित अन्य ने नगर निगम प्रशासन को शिकायत देकर उजागर किया था। इन्होंने आरोप लगाया कि वार्डों में बगैर किसी विकास कार्य के ही करोड़ों रुपए की राशि मिलीभगत कर ठेकेदार को दे दी गई है। घोटाला 50 करोड़ रुपए से भी ज्यादा का बताया जा रहा था। 

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